उत्तरप्रदेश

रिश्वत लेने-देने वाले चकबंदी लेखपाल और कनिष्ठ सहायक पर दर्ज होगी एफआईआर

लखनऊ,(दिनेश चंद्र मिश्र): मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की जीरो टॉलरेंस नीति के तहत रविवार को हमीरपुर में रिश्वत लेने व देने के मामले में चकबंदी लेखपाल और कनिष्ठ सहायक को निलंबित कर दिया गया। इसके साथ ही दोनों के खिलाफ विभागीय और अनुशासनिक कार्यवाही की संस्तुति की गयी है। इसके अलावा दोनों को बंदोबस्त अधिकारी चकबंदी कार्यालय से संबद्ध करते हुए एफआईआर दर्ज करने के निर्देश दिये गये हैं।

सहायक चकबंदी अधिकारी की जांच में पाये गये दोषी
चकबंदी आयुक्त जीएस नवीन ने बताया कि हमीरपुर में तैनात चकबंदी लेखपाल प्रखर चौधरी एवं कनिष्ठ सहायक प्रशांत पांडेय द्वारा रिश्वत लेने और देने का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा था। इसका संज्ञान लेते हुए मामले की जांच सहायक चकबंदी अधिकारी खालिद अंजुम से करायी गयी। उन्होंने प्रथम दृष्टया दोनों को दोषी पाया और अपनी रिपोर्ट बंदोबस्त अधिकारी चकबंदी हमीरपुर को सौंपी। जिसके बाद बंदोबस्त अधिकारी चकबंदी ने दोनों को निलंबित करते हुए विभागीय और अनुशासनिक कार्यवाही की संस्तुति की। साथ ही दोनों को बंदोबस्त अधिकारी चकबंदी कार्यालय से संबद्ध कर दिया। चकबंदी अधिकारी विमल कुमार एवं जेके पुष्कर को जांच अधिकारी नामित किया गया है। अपर चकबंदी आयुक्त अनुराग पटेल ने बताया कि दोनों आरोपियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराने के निर्देश दिये गये हैं।

Chauri Chaura Times

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